Album: Idhar Ka Maal Udhar
Singer: Bhupinder Singh, R.D. Burman
Music: R.D. Burman
Lyrics: Sahir Ludhianvi
Label: Universal Music India .
Released: 1975-01-01
Duration: 03:22
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इधर का माल (उधर का माल) इधर का माल
उधर जाता है उधर का माल इधर आता है
अरे, हम सब जानें, हम सब जानें अरे,
हम सब जानें किधर-किधर कितना घपला हो जाता है
(इधर का माल, उधर का माल) इधर का
माल उधर जाता है उधर का माल इधर आता
है (इधर का माल उधर जाता है) (उधर का
माल इधर आता है) ए, कितना धंदा कानूनी
है, कितना धंदा चोरी का अरे, कितना धंदा कानूनी
है, कितना धंदा चोरी का सागर-सागर फैल रहा है
जाल सुनहरी डोरी का अरे, माल पकड़ कर
कोई-कोई अरे, माल पकड़ कर कोई-कोई कितना माल बनाता
है (हम सब जानें, हम सब जानें) (हम
सब जानें, हम सब जानें) अरे, हम सब जानें
(हम सब जानें) अरे, हम सब जानें किधर-किधर कितना
घपला हो जाता है (इधर का माल, उधर
का माल) इधर का माल उधर जाता है उधर
का माल इधर आता है (इधर का माल उधर
जाता है) (उधर का माल इधर आता है)
ए, चोरों से कुतवाल मिले तो फिर चोरी कब
रुकती है अरे, चोरों से कुतवाल मिले तो फिर
चोरी कब रुकती है मज़दूरों से आँख मिलाते, आँख
सभी की झुकती है Custom से नेताओं के
घर तक Custom से नेताओं के घर तक किस
का किस से नाता है (हम सब जानें,
हम सब जानें) (हम सब जानें, हम सब जानें)
अरे, हम सब जानें (हम सब जानें) अरे,
हम सब जानें किधर-किधर कितना घपला हो जाता है
(इधर का माल, उधर का माल) इधर का माल
उधर जाता है उधर का माल इधर आता है